ही माता मज प्यारी
ही माता मज प्यारी ॥
देई सकला अति आनंद ।
जीवन झाले धन्य जेथे ॥
कशी विसरू जन्मभूमी ।
स्वर्गाहूनही अति सुंदर ही ॥
देई सकला अति आनंद ।
जीवन झाले धन्य जेथे ॥
कशी विसरू जन्मभूमी ।
स्वर्गाहूनही अति सुंदर ही ॥
| गीत | - | वसंत गात |
| संगीत | - | माणिकराव ठाकुरदास |
| स्वर | - | पं. राम मराठे |
| नाटक | - | बैजू |
| राग / आधार राग | - | नायकी कानडा |
| गीत प्रकार | - | नाट्यसंगीत |
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पं. राम मराठे