ऐसा महिमा प्रेमाचा
ऐसा महिमा । प्रेमाचा ।
मधुर भासला । खेळ सदा, प्रेमाचा ॥
प्रभु परि माझा । मग रुसता
डाव उधळला । सौख्याचा, प्रेमाचा ॥
मधुर भासला । खेळ सदा, प्रेमाचा ॥
प्रभु परि माझा । मग रुसता
डाव उधळला । सौख्याचा, प्रेमाचा ॥
गीत | - | वसंत शांताराम देसाई |
संगीत | - | मास्टर कृष्णराव |
स्वर | - | रतिलाल भावसार |
नाटक | - | संगीत प्रेमसंन्यास |
राग | - | पहाडी |
ताल | - | केरवा |
चाल | - | सखेरी बन |
गीत प्रकार | - | नाट्यसंगीत |